शिमला, 12 अप्रैल। हिमाचल प्रदेश में मौसम के मिजाज कड़े बने हुए हैं। शनिवार को भी प्रदेश के कई हिस्सों में बारिश और ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बर्फबारी दर्ज की गई है। कुछ जगह तेज़ ओलावृष्टि हुई, जिससे फसलों व फलों को नुकसान पहुंचा है। शिमला जिला के ऊपरी इलाकों में ओले गिरने से सेब के पौधों को क्षति पहुंची है, वहीं निचले इलाकों में गेहूं की खड़ी फसल को नुकसान हुआ। हालांकि बारिश से अधिकतम तापमान में गिरावट दर्ज की गई है। मध्य और ऊंचाई वाले इलाकों में यह सामान्य से 2 से 4 डिग्री सेल्सियस तक नीचे चला गया है जबकि निचले इलाकों में तापमान सामान्य या सामान्य के करीब रहा।
पिछले 24 घण्टों में धर्मशाला में सर्वाधिक 40 मिमी बारिश रिकॉर्ड की गई है। इसके अलावा जोगिंद्रनगर, बैजनाथ, जट्टन बैराज, पालमपुर, सोलन, मंडी, मालरोन, सुंदरनगर, चंबा, कोठी और जुब्बड़हट्टी सहित कई अन्य स्थानों पर भी मध्यम बारिश हुई है। वहीं ऊंचाई वाले इलाकों में बर्फबारी का दौर भी चला जिसमें लाहौल स्पीति जिला के कुकुमसेरी में सर्वाधिक 7.8 सेंटीमीटर बर्फबारी हुई। इसी तरह गोंदला में 3.0 सेंटीमीटर और केंलग में 1.0 सेंटीमीटर बर्फ दर्ज की गई है।
बर्फ़बारी से लाहौल स्पीति जिला के मुख्यालय केलंग में सबसे कम न्यूनतम तापमान 0.1 डिग्री सेल्सियस रिकॉर्ड किया गया। इसके अलावा शिमला में न्यूनतम तापमान 9 डिग्री, कल्पा में 4.8, धर्मशाला में 9.8, ऊना में 11.8, मनाली में 9.3, कुफ़री में 5.7, कुकुमसेरी में 0.8 और नारकण्डा में 3.6 डिग्री सेल्सियस रहा।
राज्य के कई हिस्सों में तेज हवाओं का भी असर देखने को मिला। सबसे तेज हवाएं कुल्लू जिला के बजौरा में 63 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से चलीं। बिलासपुर में 59, सेओबाग में 52, कोठकाई और कुफरी में 46-46, रिकांगपिओ में 44 और ताबो में 40 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलीं।
मौसम विभाग ने अगले सात दिनों के लिए पूर्वानुमान जारी किया है। इसके मुताबिक 13 से 15 अप्रैल तक मौसम शुष्क बना रहेगा जबकि 16, 17 और 18 अप्रैल को फिर से पश्चिमी विक्षोभ के सक्रिय होने से हल्की बारिश की संभावना है।